200 G.K FACTS IN HINDI


  1. जो सजीव घटक अपना भोजन स्वयं बनाते हैं वे ‘स्वपोषी’ कहलाते हैं। इन्हें प्रथम उत्पादक भी कहते हैं जैसे- हरे पेड़-पौधे।
  2.  हरे पौधे, प्रकाश संश्लेषण की क्रिया में सूर्य के प्रकाश की उपस्थिति मे कॉर्बन डाई ऑक्साइड और जल लेकर क्लोराफिल की सहायता से अपना भोजन स्वयं बनाते हैं।
  3. राजस्थान के ग्रामीणों के लिए “पानी वाला बाबा“ और शहरी संस्कृति से जुड़े लोगों के लिए मैग्सेसे पुरस्कार विजेता राजेन्द्र सिंह वर्तमान में जल संरक्षण के अभियान में व्यस्त हैं।
  4. वायुमण्डल के संगठन मे कई गैसो का मिश्रण हा ता ह जिसमे नाइट्रोजन (78 प्रतिशत), ऑक्सीजन (21 प्रतिशत), आर्गन (0.93 प्रतिशत), कार्बन डाई ऑक्साइड (0.03 प्रतिशत) आदि प्रमुख हैं।
  5. उर्वरक वे पदार्थ हैं जो मिट्टी की उपजाऊ शक्ति को बढ़ाते है। गोबर, हरी खाद तथा कम्पोस्ट जैविक खाद, कार्बनिक खाद आदि उवर्रक हैं।
  6.  प्राकृतिक गैस, कोयले या तेल की अपेक्षा स्वच्छ ईंधन है। इसमें मुख्य रूप से मीथेन गैस होती है इससे पर्यावरण का प्रदूषण कम होता है।
  7. एल0 पी0 जी0: (लिक्वीफाइड पेट्रोलियम गैस) पेट्रोलियम से प्राप्त गैसों का द्रव रूप में परिवर्तित किया हुआ रूप।
  8. जीवार्श्म इंधन: (फासिल फ्यूल्स) - पौधों तथा जन्तुओं के सहस्त्रों वर्षों तक जमा होने और विघटन के फलस्वरूप प्राप्त अवशेष जीवाश्म कहलाते हैं। जैसे-कोयला, तेल तथा प्राकृतिक गैस। इन पदार्थों र्को इंधन के रूप में प्रयुक्त करने के कारण इन्हंे जीवाश्म ईंधन कहते हैं।
  9. सी0 एन0 जी0: (कम्प्रेस्ड नेचुरुल गैस) अधिक दाब पर रखी गई प्राकृतिक गैस।
    • भूकम्प की तीव्रता का मापन रिक्टर मापक रिक्टर स्केल  के आधार पर किया जाता है। इस मापक की रचना चार्ल्स एफ0 रिक्टर ने 1935 में की थी।
    • रिक्टर मापक पर अंकित अंक 0 से 9 के बीच होते हैं।
  10.  पृथ्वी का आन्तरिक भाग बहुत गर्म है। अत्यधिक ताप के कारण पृथ्वी के अन्दर के पदार्थ एवं चट्टानें पिघलकर मैग्मा (लावा) बन जाता है। यह मैग्मा शक्तिशाली गैसों के प्रभाव से ऊपर उठता है। जहाँ कहीं भी धरातलीय सतह कमजोर होती है वहाँ ये शक्तिशाली गैसें सतह को तोड़कर विस्फोटक ज्वालामुखी के रूप में प्रकट होती हैं। 
  11. ”एड्स“ शब्द अंग्रेजी भाषा AIDS के चार अक्षरों से मिलकर बना है। इसका अर्थ निम्नवत् है:
    A- ACQUIRED (अर्जित किया हुआ)
    I- IMMUNO (रोगों से लड़ने की क्षमता)
    D- DEFICIENCY(कमी)
    S- SYNDROME (लक्षणों का समूह)
  12. एड्स एच0आई0वी0 (HIV-Human Immuno deficiency Virus) नाम के विषाणु से होता है। इस विषाणु से मानव के शरीर में रोगों से लड़ने की ताकत समाप्त हो जाती है। 
  13. चिपको आन्दोलन - वृक्षों की कटाई को रोकने के लिये श्री सुन्दर लाल बहुगुणा ने चिपको आन्दोलन चलाया। 
  14. हमारे देश में कुल भू-भाग का 19 प्रतिशत वन है। राष्ट्रीय वन नीति के अनुसार कम से कम 33 प्रतिशत भू-भाग पर वृक्ष होने चाहिए।
  15. विश्व जल दिवस 22 मार्च को मनाया जाता है
  16. भारत की जल नीति 1987 मेें बनाई गयी और 2002 में राष्ट्रीय जलनीति की घोषणा की गई। 
  17. सोडियम काबॊनेट की उपस्थिति के कारण भूमि ऊसर होती हैै । खेत में ऊसर भूमि छोटे या बड़े पैच के रूप में होती हैै ,और वहाँ सफेद नमक   या  चूना सा फैला रहता हैै
  18.  भारत में ऊसर भूमि 70 लाख हेक्टर और उत्तर प्रदेश में 13 लाख हेक्टर हैै । जनसंख्या बढ़ने से दिन प्रतिदिन खेती योग्य भूमि घटती जा रही हैै।
  19. किसी स्थान की जलवायु अध्ययन हेतु निम्नालिखित उपकरणों का उपयोग किया जाता हैैैं -
    1)तापमान -तापमापी(थर्मामीटर)
    2)वर्षा -वर्षामापी(रेन गेज )
    3)पवन-वायुवेगर्मीपी (एनिमोमीटर)
  20. भावर या तराई क्षेत्र- सहारनपुर,बिजनौर, रामपुर,मुरादाबाद, पीलीभीत,बरेली व लखीमपुर
  21. पश्चिमी मैदानी क्षेत्र-(गंगा यमुना दोआब के जनपद)सहारनपुर,मुजफ्फरनगर,मेरठ,गजियाबाद,बुलन्दशहर
  22. मध्यम पश्चिमी मैदानी क्षेत्र-बिजनौर,मुरादाबाद,रामपुर,बरेली,पीलीभीत,शाहजहाँपुर,बदायूँ
  23. दक्षिण -पश्चिमी शुष्क क्षेत्र- आगरा मंडल के समस्त जनपद
  24. मध्य मैदानी क्षेत्र -लखनऊ,कानपुर,इलाहाबाद मंडल( प्रतापगढ़ को छोड़कर )
  25. बुन्देलखण्ड क्षेत्र -बुन्देलखण्ड मंडल
  26. उत्तरी - पूर्वी मैदानी क्षेत्र-गोंडा, बहराइच,बस्ती,देवरिया व गोरखपुर
  27. पूर्वी मैदानी क्षेत्र-बाराबंकी,सुल्तानपुर,प्रतापगढ़ ,आजमगढ़ ,गाजीपुर,फैजाबाद,अम्बेडकरनगर, जौनपुर, वाराणसी ।
  28.  चक्रवात को चीन में टाईफून, मेक्सिको की खाड़ी में हरीकेन,अफ्रीका में टॅारनिडों,बंगाल की खाड़ी में साइक्लोन व भारत में तूफान कहते हैैैं ।
  29. .एगमार्क- यह खाद्य पदार्थ पर दिया जाने वाला शुद्धता का मानक प्रमाण पत्र हैै। इसका मुख्यालय कानपुर में स्थित हैै।
  30. .ISI - इसका कार्य खाद्य पदार्थ के अलावा अन्य उत्पादों पर गुणवत्ता प्रदान करने के लिए मानक चिन्ह प्रदान करना हैै। यह 159 उत्पादों पर प्रदान किया गया हैै
  31. .WTO (World Trade Organization) - यह विश्व व्यापार संगठन हैै। इसकी स्थापना 9 जनवरी 1995 को हुई। इसका मुख्यालय जेनेवा में स्थित हैै। 
  32. .BIS (Bureau of Indian Standard) भारतीय मानक ब्यूरो- यह भारत सरकार का राष्ट्रीय निकाय हैै। इसका कार्यालय नई दिल्ली में स्थित हैै। इसका कार्य उत्पाद मानकीकरण,चिन्ह योजना से उपभोक्ताआें को राष्ट्रीय मानकों के अनुरूप गुणवत्ता का आश्वासन प्रदान करना हैै।
  33. .FCI (Food Corporation of India)भारतीय खाद्य निगम- इसकी स्थापना 1965 में हुई। इसका उद्देश्य देश में खाद्यानों का न्यायपूर्ण वितरण एवं उनके मूल्यों मेें स्थिरता लाना हैै।
  34. UNESCO (United Nations Educational Social and Cultural Organization) संयुक्त राष्ट्र शैक्षणिक,सामाजिक, वैज्ञानिक तथा सांस्कृतिक संगठन - इसकी स्थापना 4 नवम्बर 1946 को हुई तथा 14 दिसम्बर 1946 के दिन यह UNO का विशिष्ट आभिकरण बना। इसका मुख्यालय पेरिस में हैै
  35. .WHO (World Health Organization)विश्व स्वास्थ्य संगठन - इसका उद्देश्य विश्व की जनता को स्वास्थ्य की उच्चतम संभव दशा प्राप्त कराना हैै तथा सभी लोगों के जीवन स्तर को अधिक से अधिक ऊँचा बनाना हैै। इसका मुख्यालय (जेनेवा)स्विटजरलैण्ड में हैै।
  36. CAT (Centre for Advanced Technology)- इसकी स्थापना 1984 में इन्दौर (M.P.)में की गई थी। लेसर एक्सीलरेटर्स तथा इनसे सम्बन्धित उच्च प्रौद्योगिकी क्षेत्रों जैसे- क्रायोजेनिक्सआतिचालक,अल्ट्राहाई वैक्यूम इत्यादि में अनुसंधान कार्यक्रम चलाता हैै।
  37. LIC(Life Insurance Corporation of India)भारतीय जीवन बीमा निगम- इसकी स्थापना 1956 में हुई । इसका मुख्यालय मुम्बई में हैै। यह अपना कार्य क्षेत्रीय कार्यालयों तथा शहरों में मण्डल कार्यालयों तथा शाखा कार्यालयों के माध्यम से करता हैै।इसका उद्देश्य जीवन बीमा का सन्देश फैलाना तथा जनता की बचत को राष्ट्र निर्माण के कार्यो के लिए जुटाना है
  38. UTI (Unit Trust of India) - भारतीय इकाई न्यास - इसकी स्थापना 1964 में की गई। यह छोटी - छोटी बचतों को जनता से एकत्र करके इसका निवेश औद्योगिक विकास में करता हैै।
  39. भारत की संविधान सभा ने राष्ट्रीय ध्वज का प्रारूप 22 जुलाई, 1947 को अपनाया।
  40. राष्ट्रगान की रचना गुरूदेव रवीन्द्रनाथ टैगोर ने की थी। राष्ट्रगान, राष्ट्र की एकता का प्रतीक है
  41. 24 जनवरी 1950 को राष्ट्रगान ”जन-गण-मन“ स्वीकार किया गया। ध्वज फहराए जाने के पश्चात् राष्ट्रगान गाया जाता है।
  42.  कर्णम मल्लेश्वरी-भारोत्तोलन, पी0टी0 उषा, रोज़ा कुट्टी, बीनामोल तथा बालसम्मा-सभी एथलेटिक्स, बुला चौधरी-तैराकी, सानिया मिर्जा-टेनिस तथा अंजू बी0जार्ज- लम्बी कूद, मैरीकॉम-बाक्सिंग, साइना नेहवाल-बैडमिंटन में 
  43. ऊँची कूद का मैदान 5 मीटर लम्बा व 4 मीटर चौड़ा क्षेत्र होता है, जिसके पोल की ऊँचाई 2.75 मीटर होती है। क्रॉस बार की लम्बाई 3.95 मीटर से 4.02 मीटर होती है।
  44. गोला पीतल अथवा लोहे के ठोस पदार्थ का बना होता है। जिसका वजन 5 किग्रा होता है। गोला फेंकने के वृत्त का व्यास 2.135 मीटर होता है जिसकी सीध में 0.75 मी. की रेखा दोनों ओर बनायी जाती है,
  45. डिस्कस, फाइबर या लकड़ी का वृत्त के आकार का होता है। इसका वजन 1.5 किलोग्राम होता है। डिस्कस फेंकने के वृत्त का व्यास 2.05 मीटर होता है, जिसकी सीध में दोनों ओर .75 मीटर की रेखा बनी होती है।
  46. कुश्ती के महान खिलाड़ी
    गामा पहलवान- गामा पहलवान को रूस्तम-ए-जहाँ कहा जाता है।दारा सिंह-‘फ्री स्टाइल ’ कुश्ती के लिए विश्व विख्यात पहलवान रहे हैं।महाबली सतपाल - गुरू हनुमान के शिष्य महाबली सतपाल जो भारतीय विद्यालयी खेल संघ के अध्यक्ष एवं भारतीय कुश्ती के विकास पुरुष हैं। इन्हें महाबली एवं पद्मश्री सम्मान से सम्मानित किया जा चुका है।सुशील कुमार- बीजिंग (चीन) ओलम्पिक 2008 में कांस्य पदक तथा लंदन ओलम्पिक-2012 में रजत पदक विजेता।योगेश्वर दत्त- लंदन ओलम्पिक, 2012 में कांस्य पदक प्राप्त किया।
  47. वालीबाल  में दोनों टीमों में 12-12 खिलाड़ी होते हैं। दोनों टीमों के छः-छः खिलाड़ी मैदान में खेलते हैं तथा छः-छः खिलाड़ी सुरक्षित रहते हैं। खेल का मैदान नेट के द्वारा 2 बराबर भागों में बँटा होता है।
  48. वॉलीबॉल का वजन 260 से 280 ग्राम परिधि 65-67 सेमी होती है।
  49.  हॉकी की बॉल का वजन 156 से 163 ग्राम के बीच होता है। जिसकी परिधि 22.40 सेमी. से 23.50 सेमी. के बीच होती खेल का मैदान आयताकार होता है। जिसकी लम्बाई 91.40 मीटर व चौड़ाई 55 मी होती है। सफेद लाइनों से निशान लगाकर मैदान बनाया जाता है।
  50. 1.ओलम्पिक खेलों का प्रारम्भ सर्वप्रथम 776 ई0पू0 में यूनान (ग्रीस) के ओलम्पिया नगर में हुआ।
    2.ओलम्पिक खेल प्रत्येक चार वर्ष बाद आयोजित होते हैं।
    3.ओलम्पिक खेलों में पहले मात्र दौड़ की ही प्रतिस्पर्धा होती थी। बाद में इसमें अन्य खेल भी जुड़ गए।
    4.ओलम्पिक में पहले महिलायें प्रतिभाग नहीं करती थीं। सन् 1900 पेरिस के फ्रांस ओलम्पिक खेलों से महिलायें प्रत्येक स्तर के खेलों में प्रतिभाग करती हैं।
    5.आरम्भ के ओलम्पिक खेलों में प्रतियोगियों को पुरस्कार के रूप में जैतून का ताज पहनाया जाता था। अब पुरस्कार स्वरूप पदक दिए जाते हैं।
  51. आधुनिक ओलम्पिक - फ्रांस के महान शिक्षाविद् एवं समाजशास्त्री बैरेन पियरे डी कुवर्टिन ने विश्व समुदाय में एकता एवं सौहार्द के उद्देश्य से 1896 में एथेन्स (यूनान की राजधानी) से आरम्भ किया व 1916, 1940, 1944 को छोड़कर प्रत्येक चार वर्ष के अन्तराल पर ये खेल आयोजित होते हैं।
  52. ओलम्पिक खेलों में भारत की स्थिति
    1.सन् 2008 बीजिंग (चीन) ओलम्पिक में निशानेबाजी में अभिनव बिन्द्रा ने स्वर्ण पदक, कुश्ती में सुशील कुमार ने कांस्य पदक और मुक्केबाजी में बिजेन्द्र सिंह ने कांस्य पदक प्राप्त किया।
    2.भारत ने ओलम्पिक खेलों में वर्ष 1928 से 1956 तक लगातार 6 बार हॉकी का स्वर्ण पदक जीता। इसके अतिरिक्त हॉकी में ही 1960 में रजत तथा 1968, 1972 में कांस्य पदक जीता।
    3.वर्ष 1992 में भारत की पी0टी0 उषा 100 मीटर की दौड़ में सेकेन्ड के सौवें भाग से पीछे रहने के कारण कांस्य पदक नहीं जीत सकीं।
    4.वर्ष 1952 में के0डी0 जाधव ने कुश्ती में कांस्य पदक जीता। यह उस समय का पहला एकल पदक था जो विजेता को व्यक्तिगत रूप से प्राप्त हुआ था।                                                                5 सन् 1996 के अटलांटा ओलम्पिक खेलों में भारत के लिएण्डर पेस लॉन टेनिस के खेल में कांस्य पदक विजेता बने।
    6.सन् 2000 के सिडनी ओलम्पिक में कर्णम् मल्लेश्वरी ने भारोत्तोलन स्पर्धा में कांस्य पदक प्राप्त किया।
    7.सन् 2004 के एथेन्स ओलम्पिक में सेना के मेजर राज्यवर्धन सिंह राठौर ने निशानेबाजी का रजत पदक प्राप्त किया।
    8.सन् 2012 के लन्दन ओलम्पिक में सुशील कुमार ने कुश्ती में रजत पदक तथा योगेश्वर दत्त ने भी कुश्ती में कांस्य पदक प्राप्त किया।                               निशानेबाजी में विजय कुमार ने रजत तथा गगन नारंग ने कांस्य पदक प्राप्त किया। बैडमिंटन में साइना नेहवाल ने कांस्य तथा मुक्केबाजी में मैरी कॉम ने कांस्य पदक प्राप्त किया।
  53. एशियाड खेल                                                                                                               1.एशियाई खेलों के जनक प्रोफेसर गुरूदत्त सोढ़ी, महाराजा पटियाला एवं भारत के प्रथम प्रधानमंत्री पं0 जवाहर लाल नेहरू थे।
    2.इन खेलों का आयोजन भी प्रत्येक चार वर्ष बाद होता है।
    3.एशियाड खेलों का प्रथम आयोजन वर्ष 1951 में 4 मार्च से 11 मार्च तक नई दिल्ली में आयोजित किया गया था।
    4.एशियाड खेलों में एथलेटिक्स, हैण्डबॉल, बास्केटबॉल, कुश्ती, भारोत्तोलन, मुक्केबाजी, कराटे, कबड्डी, जिम्नास्टिक, निशानेबाजी, तैराकी, साइकिल दौड़, हॉकी, वॉलीबॉल, फुटबॉल आदि खेल सम्मिलित हैं।
    5.वर्ष 1982 में नवें एशियाई खेलों का आयोजन नई दिल्ली में हुआ था।
    6.एशियाई खेल वर्ष 2002 में बुसान (दक्षिण कोरिया) में हुए थे। जिसमें कुल 44 देशों ने भाग लिया। इसमें खेलों की कुल संख्या 38 थी।
    7.एशियाई खेल वर्ष 2006 में कतर की राजधानी दोहा में हुआ था जिसमें कुल 45 देशों ने भाग लिया। इसमें खेलों की कुल संख्या 39 थी।
    8.एशियाई खेल वर्ष 2010 में चीन के गुआंग्झोऊ में हुआ था जिसमें कुल 45 देशों ने भाग लिया। इसमें खेलों की कुल संख्या 42 थी।
    9.एशियाई खेल वर्ष 2014 में दक्षिण कोरिया के इंचियोन में हुआ था, इसमें भारत ने पुरुष हॉकी टूर्नामेंट में स्वर्ण पदक जीता। इस खेल में कुल 45 देशों ने भाग लिया और खेलों की कुल संख्या 36 थी।
    एशियाड में भारत की स्थिति- भारत ने 2014 तक 139 स्वर्ण पदक, 178 रजत पदक, 285 कांस्य पदक जीते हैं।
  54. राजीव गांधी खेल रत्न पुरस्कार
    यह पुरस्कार 1991 से शुरु हुआ। यह खेल का राष्ट्रीय स्तर पर सर्वोच्च पुरस्कार है ।                      हमारे देश में यह पुरस्कार विश्वनाथन आनन्द (शतरंज), के0 मल्लेश्वरी एवं एन0कुंजूरानी (भारोत्तोलन), लेण्डर पेस (टेनिस), सचिन तेंदुलकर (क्रिकेट), धनराज पिल्लै (हॉकी), पुलेला गोपीचन्द (बैडमिंटन) तथा ज्योतिर्मय सिकदर, के0एम0 वीनामोल, अंजू बॉबी जार्ज को (एथलेटिक्स) मिल चुका है। इस पुरस्कार में एक प्रशस्ति पत्र, एक मेडल तथा रु. 7,50000/- (सात लाख पचास हजार) की धनराशि नगद प्रदान की जाती है।
    अर्जुन पुरस्कार
    वर्ष 1961 में अर्जुन पुरस्कार शुरु किया गया। यह सबसे अच्छे खिलाडि़यों को दिया जाने वाला खेल का सर्वोच्च राष्ट्रीय पुरस्कार है। इस पुरस्कार में अर्जुन की कांस्य प्रतिमा, एक प्रशस्ति-पत्र, पाँच लाख रुपये नगद और समारोह परिधान शामिल होता है।
    द्रोणाचार्य पुरस्कार
    यह पुरस्कार वर्ष 1985 से प्रारम्भ किया गया। द्रोणाचार्य पुरस्कार उन प्रशिक्षकों को दिया जाता है, जिन्होंने वर्ष के दौरान उत्कृष्ट सफलता हासिल करने वाली टीम या खिलाड़ी को प्रशिक्षित किया है। इस पुरस्कार में पाँच लाख रुपये नगद, द्रोणाचार्य की एक प्रतिमा, एक प्रशस्ति पत्र, एक समारोह परिधान और एक टाई दी जाती है।
    लक्ष्मण पुरस्कार
    यह पुरस्कार उत्तर प्रदेश शासन द्वारा उन खिलाडि़यों को दिया जाता है जिनका वर्षभर में बहुत अच्छा प्रदर्शन होता है। इसमें पुरस्कार की नगद धनराशि 50,000 रुपये तथा प्रशस्ति पत्र दिया जाता है।
    रानी लक्ष्मी बाई पुरस्कार
    यह पुरस्कार उत्तर प्रदेश शासन द्वारा उन महिला खिलाडि़यों को दिया जाता है जिनका राज्य एवं राष्ट्र स्तर पर उत्कृष्ट प्रदर्शन होता है। 
  55. उत्तर प्रदेश के खनिज सम्पदा के क्षेत्र
    चूना पत्थर -मिर्जापुर, राबर्ट्सगंज
    डोलोमाइट - मिर्जापुर, बाँदाश्
    ताँबा - ललितपुर
    ग्लास सैंड - बाँदा (कर्वी एवं मऊ)
    संगमरमर - मिर्जापुर
    यूरेनियम- ललितपुर
  56. रिहन्द योजना - उत्तर प्रदेश की अब तक की सबसे बड़ी योजना है। यह सोन की सहायक रिहन्द नदी पर पिपरी नामक स्थान पर बनाई गई है। इसे गोविन्द बल्लभ पन्त सागर योजना भी कहा जाता है। बाँध के नीचे की ओर ओबरा में बने हुए बिजलीघर से विद्युत मिलती है।
  57.  माताटीला योजना - यह महत्त्वपूर्ण बाँध झाँसी जिले में बेतवा नदी पर बनाया गया है इससे गुरसराय तथा मन्दर दो नहरें निकाली गई हैं। इन नहरों से झाँसी, हमीरपुर एवं जालौन जिलों में सिंचाई की जाती है। इस बाँध के समीप एक जल विद्युत शक्ति गृह भी बनाया गया है।
  58. ताज महल का नगर- आगरा
    सफेद संगमरमर का बना यह ताजमहल (विश्व के सात आश्चर्यों में एक) आगरा में यमुना नदी के तट पर स्थित है। इसको मुगल बादशाह शाहजहाँ ने अपनी प्रिय बेगम मुमताज महल की याद में बनवाया था।
  59. आगरा से कुछ दूरी पर एक प्रसिद्ध स्थान है - फतेहपुर सीकरी। इसे मुगल बादशाह अकबर ने बसाया था। यहाँ बुलन्द दरवाजा, पंचमहल एवं शेख सलीम चिश्ती की दरगाह प्रसिद्ध है। दयालबाग का प्रसिद्ध राधास्वामी मंदिर यहीं है। आगरे का पेठा और दालमोठ बहुत ही पसन्द की जाती है। यहाँ का चमड़ा उद्योग भी प्रसिद्ध है।
  60. कानपुर उत्तर प्रदेश का एक औद्योगिक नगर है। अब कानपुर को दो जिलों में बाँट दिया गया है- कानपुर नगर और कानपुर देहात। कानपुर शहर गंगा नदी के तट पर स्थित है।
    कानपुर में सूती वस्त्र, ऊनी वस्त्र तथा चमड़े के सामान बनाने के बड़े-बड़े कारखाने हैं। यहाँ मिलों और हथकरघों पर सूती वस्त्र बनाए जाते रहे हैं। यहाँ लोग बड़ी संख्या में कारखानों में काम करते हैं।
  61. कानपुर के नानाराव पार्क में एक मेमोरियल वेल (कुआँ) है। इसी स्थान से कुछ दूरी पर तात्याटोपे ने अंग्रेजों को परास्त किया था। 
  62. यहाँ चन्द्रशेखर आजाद कृषि विश्वविद्यालय तथा भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान (आई.आई.टी.) है।
  63. लखनऊ उत्तर  प्रदेश की राजधानी है। यह गोमती नदी के किनारे बसा है।
  64. लखनऊ में कई प्रसिद्ध ऐतिहासिक इमारतें हैं। इनमें रेजीडेन्सी, रूमी दरवाजा, छोटा और बड़ा इमामबाड़ा प्रमुख हैं। बड़े इमामबाड़े में ‘भूलभुलैया’ भी है। 
  65. भारत में 29 राज्य एवं 7 केन्द्रशासित प्रदेश हैं। केन्द्र शासित क्षेत्र चंडीगढ़, पुदुच्चेरी, दमन एवं दीव, अंडमान निकोबार, लक्षद्वीप, दादरा एवं नगर हवेली हैं तथा दिल्ली राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र है।
  66. जम्मू कश्मीर: एक नजर में 
    राजधानी - जम्मू (सर्दी) श्रीनगर (गर्मी)
    महत्वपूर्ण शहर - जम्मू, श्रीनगर लेह
    मुख्य नदी - झेलम
    भाषाएँ - कश्मीरी, उर्दू,डोगरी, लद्दाखी
    मुख्य धर्म - हिन्दू, मुस्लिम, बौद्ध
    मुख्य खनिज - कोयला
    मुख्य त्यौहार - ईद, शिवरात्रि
    मुख्य निर्यात - कालीन, कसीदा
  67. राजस्थान: एक नजर 
    राजधानी - जयपुर
    अन्य शहर - उदयपुर,अजमेर
    मुख्य नदी - चम्बल
    भाषा - राजस्थानी,हिन्दी
    मुख्य धर्म - हिन्दू
    मुख्य त्यौहार - गणगौर व तीज
    मुख्य निर्यात - संगमरमर, दस्तकारी का सामान
    मुख्य धन्धा - ऊन बनाना,सूती वस्त्र बनाना।
  68. मध्य प्रदेश: एक नजर 
    राजधानी - भोपाल
    अन्य शहर - ग्वालियर, उज्जैन,
    जबलपुर
    मुख्य नदी - नर्मदा
    भाषा - हिन्दी, बुन्देली,
    मुख्य धर्म - हिन्दू
    मुख्य त्यौहार - होली, दीपावली,
    दशहरा
    मुख्य निर्यात - सीमेंट एवं चूना
    मुख्य धन्धे - खेती, खनन कार्य
  69. महाराष्ट्र: एक नजर  -
    राजधानी - मुम्बई
    महत्वपूर्ण शहर - नागपुर, औरंगाबाद
    मुख्य नदी - गोदावरी, कृष्णा, ताप्ती
    भाषा - मराठी, हिन्दी
    मुख्य धर्म - हिन्दू
    मुख्य त्यौहार - गणेशोत्सव
    मुख्य निर्यात - सूती वस्त्र, मछली
    मुख्य धन्धे - मछली पकड़ना,
    सूती वस्त्र निर्माण
    मुख्य फल - केला, अंगूर
    नारियल, आम
  70. तमिलनाडु: एक नजर  -
    राजधानी - चेन्नई
    अन्य महत्वपूर्ण शहर - कांची. तंजौर
    मुख्य नदी - कावेरी
    भाषा - तमिल
    मुख्य धर्म - हिन्दू, इस्लाम,बौद्ध
    मुख्य खनिज - कोयला
    मुख्य त्यौहार - पोंगल
    मुख्य निर्यात - रबर, काजू,कॉफी,नारियल का सामान।
    मुख्य धन्धे - कृषि,उद्योग,दस्तकारी
  71. पश्चिम बंगाल:एक नजर -
    राजधानी - कोलकाता
    अन्य शहर - दुर्गापुर, चितरंजन,
    दार्जिलिंग
    मुख्य नदी - हुगली
    भाषा - बंगला
    मुख्य धर्म - हिन्दू, इस्लाम
    मुख्य त्यौहार - दुर्गापूजा
    मुख्य निर्यात - मछली, जूते, रेलवे
    इंजन
    मुख्य धन्धे - मछली पकड़ना, जूट
    का सामान बनाना
  72. अरुणाचल प्रदेश: एक नजर -
    राजधानी - ईटानगर
    अन्य शहर - बोमडीला, अलांग
    मुख्य नदी - दिग्फूरी
    भाषा - हिन्दी, पहाड़ी मोनापा, अथा
    मुख्य त्योहार - तोरग्या
    मुख्य निर्यात - आलू बुखारा, सेब, आड़ू
    मुख्य धन्धे - चटाई बुनना, दस्तकारी
    मुख्य फल, मेवे - आलू बुखारा, सेब, आड़ू, अंगूर

  73. चूना पत्थर का रासायनिक नाम कैल्शियम कार्बोनेट है। 
  74. प्रयोगशाला में बनाया जाने वाला पहला योगिक यूरिया था 
  75. वाटर गैस में H 2 और CO पाए जाते हैं 
  76. प्रोडयूसर गैस में N 2  औ र CO  पाए जाते हैं 
  77. पैट्रोलियम को द्रव सोना कहते हैं। 
  78. . लहसुन की विशिष्ट गंध.सल्फरयुकत यौगिक के कारण होती है।
    .       
  79. . अमरूद मे   विटामिन सी   विटामिन प्रचुरता से मिलता है।  
  80.  मानव शरीर मे मलेरिया  मच्छर के जीव के कारण होता है।  
  81. मानव ह्रदय का  बाम निलय प्रकोष्ठ , पूणर्तः आक्सीजनकृत रक्त को महाधमनी मे और वहां से पूरे शरीर मे भेजता है. 
  82. व्यायाम के दौरान शरीर मे पसीना आना  परासरण नियमन प्रक्रिया का होना इंगित करता है
  83. .कार चालक की सुरक्षा के लिए प्रयोग मे आने वाले वायु-थैले (एयरबैग) मेसोडियम ऐजाइड होता है.
  84. किसी लकड़ी की बनी पुरानी मूर्ति की आयु कार्बन कालनिधार्णप्रयोग करके जानी जाती है 
  85. मानव शरीर की  थॉयराड ग्रन्थी मे आयोडिन संगृहीत होता है
  86.  स्फिग्मोमैनो मीटर से रक्त दाब मापा जाता है
  87. .प्रकाश के पूर्ण आंतरिक परावर्तन कारण मरिचिका की परिघटना होती है.
  88. बेरी-बेरी विटामिन B1 की कमी से होता है
  89. .वायुयान की चाल को मापने के लिए  पीटोटनली का उपकरण का प्रयोग करते है
  90. .मथने के पश्चात दूध से क्रिम अपकेद्रक बल के कारणसे पृथक हो जाती है. 
  91.  शरीर मे भोजन प्रायःछोटी आँत मे  पचता है.
  92. . ह्रदय रोग का पता लगाने के लिए ईसीजी (ECG) का  प्रयोग किया जाता है.
  93.  मछली श्वासन क्रिया गलफड़ो के  द्वारा करती है.
  94.  हरे पौधेप्रकाश की  उपस्थिति मे भोजन बनाते है
  95.  प्लास्टर ऑफ पेरिस (POP)जिप्सम से  बनता है. 
  96. विटामिन सी का रासायनिक नामएस्कोर्बिक अम्ल है 
  97. बॉक्साइट एलुमिनियम कीकच्ची धातु है.
  98.  खाद्य पदार्थो को सुरक्षित रखने के लिएसोडियम बेन्जोएट सा रसायन प्रयुक्त किया जाता है
  99.  रतौंधी  विटामिन-ए की की कमी के कारण होता है
  100.  नवजात शिशु के शरीर मे300 कितनी हड्डीयाँ होती है
  101.  वायुमण्डल की सबसे निचली परत को  क्षोभ मण्डलकहते है
  102.  शुक्र को गृह को सांध्य तारा कहा जाता है .
  103.  रक्ताल्पता रोग हिमोग्लोबीन कीकमी से होता है
  104. विश्व का सबसे पहला तेल कूप अमेरिका के पेंसिलवेनिया में 1859 ई0 में खोदा गया।
  105. 1867 ई0 में भारत का पहला तेल कुआँ असम के मकक में खोदा गया।
  106. द्रवित पेट्रोलियम गैस (एल. पी. जी. ) के रिसाव का पता लगाने के लिए इसमे गंधवाला पदार्थ एथिल मरकैप्टन (C2H5SH) मिश्रित कर दिया जाता है।
  107. एल. पी. जी. मुख्यत: आइसो ब्यूटेन एवं प्रोपेन गैसों का मिश्रण होती है जो कि गन्धहीन होती है।
  108. कौल गैस  हाइड्रोजन, कार्बन मोनो ऑक्साइड, मेथेन, एथिलीन, एसिटलीन आदि का मिश्रण है।
  109. श्वसन क्रिया एवं लोहे में जंग लगने कीक्रिया मन्द दहन क्रियाएं हैं।
  110. लोहा को जंग से बचाने के लिये लोहे की चादर या अन्य पात्र को पिघले हुए जस्ते में डुबा देते हैं, जिसके कारण लोहे पर जस्ते की एक पतली परत जम जाती है . इसे गैल्वोनीकरण कहते हैं.
  111. एलुमीनियम को क्षरण से बचाने के लिए उसके ऊपर ,एलुमीनियम ऑक्साइड का विद्युत लेपन कर दिया जाता है .
  112. डेक्रॉन अथवा टेरिलीन, एथिलीन ग्लॉइकॉल तथा डाइमेथिल टरथैलेट का सहबहुलक है.
  113. थार्मोप्लास्टिक को पुन: चक्रण करके इसका उपयोग किया जा सकता है.पॉलीथीन,पॉली वाइनिल क्लोराइड (पी0वी0सी0) आदि थर्मोप्लास्टिक के उदाहरण हैं.
  114. बैकेलाइट एक थर्मोसेटिंग प्लास्टिक है. थर्मोसेटिंग प्लास्टिक का दोबारा उपयोग नहीं किया जा सकता है अर्थात इनका पुन: चक्रण संभव नहीं है.
  115.  काँच धातुआें के सिलिकेटों का विलयन (मिश्रण) होता है
  116. साधारण या मृदु काँच  सोडियम कार्बोनेट, चूना पत्थर और रेत को मिला कर बनाया जाता है 
  117. साधारण कांच का  उपयोग बोतल, परखनली, खिड़की के शीशे आदि बनाने में किया जाता है .
  118. कठोर काँच पोटैशियम कार्बोनेट, चूना पत्थर और रेत के मिश्रण से बनाया जाता है 
  119.   कठोर कांच का पयोग फ्लॉस्क, बीकर, परखनली आदि प्रयोगशाला के उपकरण बनाने में किया जाता है   
  120. अनाजों एवं फसलों को बीमरियों और कीटों से बचाने के लिए विभिन्न रोगाणुनाशक रसायन जैसे - डी0डी0टी0(डाई क्लोरो डाई फ़िनिल क्लोरो एथेन ) बी0एच0सी0 (बेंजीन हेक्सा क्लोराइड) तथा मिथाइल पेरथियान आदि का उपयोग किया जाता है
  121. समुद्र तल पर वायुमंडल का दाब पारे के 76 cm ऊँचे स्तम्भ के दाब के बराबर होता है . इसका मान 1.013X105 न्यूटन / मीटर2 या N/m2 होता है . इसे प्रामणिक दाब कहते हैं.
  122.  भारत के राष्ट्रपति =डॉ. राजेंद्र प्रसाद (1884 - 1963)                 जनवरी 26, 1950 - मई 13, 1962
    डॉ सर्वपल्ली राधाकृष्णन (1888-1975)                                     मई 13, 1962 - मई 13, 1967
    डॉ. जाकिर हुसैन (1897 - 1969                                                  मई 13, 1967 - मई 03, 1969
    वराहगिरि वेंकटगिरि (1884 - 1980)(कार्यवाहक)                 मई 03, 1969 - जुलाई 20, 1969
    न्यायमूर्ति मोहम्मद हिदायतुल्लाह (1905 - 1992)(कार्यवाहक)    जुलाई 20, 1969 - अगस्त 24, 1969
    वराहगिरि वेंकटगिरि (1884 - 1980)                                      अगस्त 24, 1969 - अगस्त 24, 1974
    फखरुद्दीन अली अहमद (1905 - 1977)                             अगस्त 24, 1974 - फरवरी 11, 1977
    बी.डी. जत्ती (1913 - 2002)(कार्यवाहक)                                फरवरी 11, 1977 - जुलाई 25, 1977
    नीलम संजीव रेड्डी (1913 - 1996)                                     जुलाई 25, 1977 - जुलाई 25, 1982
    ज्ञानी जैल सिंह (1916 - 1994)                                                 जुलाई 25, 1982 - जुलाई 25, 1987
    आर. वेंकटरमण (1910 - 2009)                                          जुलाई 25, 1987 - जुलाई 25, 1992
    डॉ. शंकर दयाल शर्मा (1918 - 1999)                                         जुलाई 25, 1992 - जुलाई 25, 1997
    के. आर. नारायणन (1920 - 2005)                                      जुलाई 25, 1997 - जुलाई 25, 2002
    डॉ. ए.पी.जे. अब्दुल कलाम (1931-2015)                              जुलाई 25, 2002 - जुलाई 25, 2007
    श्रीमती प्रतिभा देवीसिंह पाटिल (जन्म - 1934)                         जुलाई 25, 2007 - जुलाई 25, 2012
    श्री प्रणब मुखर्जी (जन्म - 1935)                                          जुलाई 25, 2012 - जुलाई 25, 2017
    श्री राम नाथ कोविन्द (जन्म - 1945)                                        जुलाई 25, 2017 से अब तक
  123. भारत के उपराष्टपति                                                                                                                          डॉ. सर्वपल्ली राधाकृष्णन (1888 - 1975)                                       1952-1962
    डॉ. जाकिर हुसैन (1897 - 1969)                                                           1962-1967
    वराहगिरि वेंकटगिरि (1884 - 1980)                                                  1967-1969
    गोपाल स्वरूप पाठक (1896 - 1982)                                                  1969-1974
    बी.डी. जत्ती (1913 - 2002)                                                            1974-1979
    न्यायमूर्ति मोहम्मद हिदायतुल्लाह (1905 - 1992)                            1979-1984
    आर. वेंकटरमण (जन्म - 1910)                                                        1984-1987
    डॉ. शंकर दयाल शर्मा (1918 - 1999)                                                 1987-1992
    के. आर. नारायणन (1920 - 1925)                                                    1992-1997
    कृष्णकांत (1927 - 2002)                                                                    1997-2002
    भैरों सिंह शेखावत (जन्म - 1923)                                                    2002-2007
    मोहम्मद हामिद अंसारी (जन्म - 1937)                                           2007-2017
    मुप्पवरपु वेंकैया नायडू (जन्म - 1949)                        अगस्त 11, 2017 से वर्तमान तक
  124. भारत के प्रधानमंत्री                                                                                                                             जवाहरलाल नेहरू (1889 - 1964)                                   अगस्त 15, 1947 - मई 27, 1964
    गुलजारी लाल नंदा (1898 - 1997) (कार्यवाहक)                     मई 27, 1964 - जून 9, 1964
    लाल बहादुर शास्‍त्री (1904 - 1966)                              जून 09, 1964 - जनवरी 11, 1966
    गुलजारी लाल नंदा (1898 - 1997) (कार्यवाहक)             जनवरी 11, 1966 - जनवरी 24, 1966
    इंदिरा गांधी (1917 - 1984)                                     जनवरी 24, 1966 - मार्च 24, 1977
    मोरारजी देसाई (1896 - 1995)                                        मार्च 24, 1977 - जुलाई 28, 1979
    चरण सिंह (1902 - 1987)                                       जुलाई 28, 1979 - जनवरी14 , 1980
    इंदिरा गांधी (1917 - 1984)                               जनवरी 14, 1980 - अक्टूबर 31 , 1984
    राजीव गांधी (1944 - 1991)                                अक्टूबर 31, 1984 - दिसंबर 01, 1989
    विश्वनाथ प्रताप सिंह (1931 - 2008)                         दिसंबर 02, 1989 - नवंबर 10, 1990
    चंद्रशेखर (1927 - 2007)                                                  नवंबर 10, 1990 - जून 21, 1991
    पी. वी. नरसिम्हा राव (1921 - 2004)                                        जून 21, 1991 - मई 16, 1996
    अटल बिहारी वाजपेयी (1926)                                                 मई 16, 1996 - जून 01, 1996
    एच. डी. देवेगौड़ा (1933)                                                      जून 01, 1996 - अप्रैल 21, 1997
    इंद्रकुमार गुजराल (1933 - 2012)                                       अप्रैल 21, 1997 - मार्च 18, 1998
    अटल बिहारी वाजपेयी (जन्म - 1926)                           मार्च 19, 1998 - अक्टूबर 13, 1999
    अटल बिहारी वाजपेयी (जन्म - 1926)                          अक्टूबर 13, 1999 - मई 22, 2004
    डॉ. मनमोहन सिंह (जन्म - 1932)                                           मई 22, 2004 - मई 26, 2014
    नरेन्द्र मोदी (जन्म - 1950)                                                        मई 26, 2014 - वर्तमान तक
  125. (आबादी) जनसंख्‍या 1 मार्च, 2011 की स्थिति के अनुसार भारत की जनसंख्‍या 1,210,193,422 (623.7 मिलियन पुरुष और 586.4 मिलियन महिला) की।
  126. जनसंख्‍या वृद्धि दर औसत वार्षिक घातांकी वृद्धि दर वर्ष 2001-2011 के दौरान 1.64 प्रतिशत है।
  127. जन्‍म दर वर्ष 2009 की जनगणना के अनुसार अनुमानित मृत्‍यु दर 18.3 है।मृत्‍यु दर वर्ष 2009 की जनगणना के अनुसार अनुमानित जन्‍म दर 7.3 है।
  128. संम्‍भावित जीवन दर 65.8 वर्ष (पुरुष) 68.1 वर्ष (महिला) (सितम्‍बर 2006-2011 की स्थिति के अनुसार)
  129.     लिंग अनुपात 2011 की जनगणना के अनुसार 940   
  130.   जातीय  अनुपात सभी पांच मुख्‍य प्रकार की जातियां, ऑस्‍ट्रेलियाड, मोंगोलॉयड, यूरोपॉयड, कोकोसिन और नीग्रोइड को भारत की जनता के बीच प्रतिनिधित्‍व मिलती है।
  131. धर्म वर्ष 2001 की जनगणना के अनुसार 1,028 मिलियन देश की कुल जनसंख्‍या में से 80.5 प्रतिशत के साथ हिन्‍दुओं की अधिकांशता है दूसरे स्‍थान पर 13.4 प्रतिशत की जनसंख्‍या वाले मुस्लिम इसके बाद ईसाई, सिख, बौद्ध, जैन और अन्‍य आते हैं।
  132.    भाषाएं भारतीय संविधान द्वारा 22 विभिन्न भाषाओं को मान्यता दी गई है, जिसमें हिन्दी आधिकारिक भाषा है। अनुच्छेद 343 (3) भारतीय संसद को विधि के अधीन कार्यालयीन उद्देश्यों के लिए अंग्रेजी के उपयोग को जारी रखने का अधिकार देता है।                                                 
  133. साक्षरता 2001 की जनसंख्‍या के अनंतिम परिणाम के अनुसार देश मे साक्षरता दर 74.04 प्रतिशत है। 82.14 प्रतिशत पुरुषों के लिए और महिलाओं के लिए 65.46 है।
  134. देश का नाम रिपब्लिक ऑफ इंडिया; 
  135. भारत गणराज्‍यसरकार का प्रकार संसदीय सरकार पद्धति के साथ सामाजिक प्रजातांत्रिक गणराज्‍य।
  136. राजधानी नई दिल्‍लीप्रशासनिक प्रभाग 29  राज्‍य और 7 संघ राज्‍य क्षेत्र
  137.  आजादी 15 अगस्‍त 1947 (ब्रिटिश उपनिवेशीय शासन से)संविधान भारत का संविधान 26 जनवरी, 1950 को लागू हुआ।.
  138. कानून प्रणाली भारत का संविधान देश की न्‍याय प्रणाली का स्रोत है।
  139. कार्यपालिका शाखा भारत का राष्‍ट्रपति देश का प्रधान होता है, जबकि प्रधानंत्री सरकार प्रमुख होता है और मंत्रिपरिषद् की सहायता से शासन चलाता है जो मंत्रिमंडल मंत्रालय का गठन करते हैं
  140. ।विद्यायिका शाखा भारतीय वि‍द्यायिका में लोक सभा (हाउस ऑफ दि पीपल) और राज्‍य सभी (राज्‍य परिषद्) संसद के दोनों सदनों का गठन करते है
  141. ।न्‍यायपालिका शाखा भारत का सर्वोच्‍च न्‍यायालय भारतीय कानून व्‍यवस्‍था का शीर्ष निकाय है इसके बाद अन्‍य उच्‍च न्‍यायालय और अधीनस्थ न्‍यायालय आते हैं।
  142. झण्‍डे का वर्णन राष्‍ट्रीय झण्‍डा आयताकार तिरंगा है जिसमें केसरिया ऊपर है, बीच में सफेद, और बराबर भाग में नीचे गहरा हरा है। सफेद पट्टी के केन्‍द्र में गहरा नीला चक्र है जो सारनाथ में अशोक चक्र को दर्शाता है।
  143. राष्ट्रीय पक्षी भारतीय मोर, पावों क्रिस्‍तातुस, भारत का राष्‍ट्रीय पक्षी एक रंगीन, हंस के आकार का पक्षी पंखे आकृति की पंखों की कलगी, आँख के नीचे सफेद धब्‍बा और लंबी पतली गर्दन। 
  144. राष्ट्रिय पुष्प कमल (निलम्‍बो नूसीपेरा गेर्टन) भारत का राष्‍ट्रीय फूल है। यह पवित्र पुष्‍प है 
  145. राष्ट्रीय पेंड भारतीय बरगद का पेड़ फाइकस बैंगा‍लेंसिस, जिसकी शाखाएं और जड़ें एक बड़े हिस्‍से में एक नए पेड़ के समान लगने लगती हैं। जड़ों से और अधिक तने और शाखाएं बनती हैं। इस विशेषता और लंबे जीवन के कारण इस पेड़ को अनश्‍वर माना जाता है 
  146. राजकीय प्रतीक भारत का राजचिह्न सारनाथ स्थित अशोक के सिंह स्तंभ की अनुकृति है, जो सारनाथ के संग्रहालय में सुरक्षित है। मूल स्तंभ में शीर्ष पर चार सिंह हैं, जो एक-दूसरे की ओर पीठ किए हुए हैं। इसके नीचे घंटे के आकार के पदम के ऊपर एक चित्र वल्लरी में एक हाथी, चौकड़ी भरता हुआ एक घोड़ा, एक सांड तथा एक सिंह की उभरी हुई मूर्तियां हैं, इसके बीच-बीच में चक्र बने हुए हैं। एक ही पत्थर को काट कर बनाए गए इस सिंह स्तंभ के ऊपर 'धर्मचक्र' रखा हुआ है।
  147. राष्ट्रीय पंचांग राष्‍ट्रीय कैलेंडर शक संवत पर आधारित है, चैत्र इसका माह होता है और ग्रेगोरियन कैलेंडर के साथ साथ 22 मार्च, 1957 से सामान्‍यत: 365 दिन 
  148. उत्‍तर प्रदेश का राजकीयम पशु बारासिंघा                                                                   
  149. उप्र  का राजकीय पुष्प पलाश है 
  150. उप्र का राजकीय पक्षी सारस है 
  151. उप्र का राजकीय वृक्ष अशोक है 
  152. भारत का इतिहास सिंधु घाटी की सभ्‍यता के जन्‍म के साथ आरंभ हुआ, और अधिक बारीकी से कहा जाए तो हड़प्‍पा सभ्‍यता के समय इसकी शुरूआत मानी जाती है। यह दक्षिण एशिया के पश्चिमी हिस्‍से में लगभग 2500 बीसी में फली फूली, जिसे आज पाकिस्‍तान और पश्चिमी भारत कहा जाता है।
  153. सिंधु घाटी मिश्र, मेसोपोटामिया, भारत और चीन की चार प्राचीन शहरी सबसे बड़ी सभ्‍यताओं का घर थी। इस सभ्‍यता के बारे में 1920 तक कुछ भी ज्ञात नहीं था, 
  154. प्राचीन भारत के इतिहास में वैदिक सभ्‍यता सबसे प्रारंभिक सभ्‍यता है। इसका नामकरण हिन्‍दुओं के प्रारम्भिक साहित्‍य वेदों के नाम पर किया गया है। वैदिक सभ्‍यता सरस्‍वती नदी के किनारे के क्षेत्र जिसमें आधुनिक भारत के पंजाब और हरियाणा राज्‍य आते हैं, में विकसित हुई।
  155. भगवान गौतम बुद्ध के जीवनकाल में, ईसा पूर्व 7 वीं और शुरूआती 6 वीं शताब्दि के दौरान सोलह बड़ी शक्तियां (महाजनपद) विद्यमान थे। अति महत्‍वपूर्ण गणराज्‍यों में कपिलवस्‍तु के शाक्‍य और वैशाली के लिच्‍छवी गणराज्‍य थे। गणराज्‍यों के अलावा राजतंत्रीय राज्‍य भी थे।
  156. कुशाणों के बाद गुप्‍त साम्राज्‍य अति महत्‍वपूर्ण साम्राज्‍य था। गुप्‍त अवधि को भारतीय इतिहास का स्‍वर्णिम युग कहा जाता है। गुप्‍त साम्राज्‍य का प‍हला प्रसिद्ध सम्राट घटोत्‍कच का पुत्र चन्‍द्रगुप्‍त था। 
  157. 7वीं सदी के प्रारम्‍भ होने पर, हर्षवर्धन (606-647 इसवी में) ने अपने भाई राज्‍यवर्धन की मृत्‍यु होने पर थानेश्‍वर व कन्‍नौज की राजगद्दी संभाली। 612 इसवी तक उत्‍तर में अपना साम्राज्‍य सुदृढ़ कर लिया।
  158.  पाल राजा धर्मपाल, जो गोपाल के पुत्र थे, में आठवीं शताब्‍दी ए.डी. से नौवी शताब्‍दी ए.डी. के अंत तक शासन किया। धर्मपाल द्वारा नालंदा विश्‍वविद्यालय और विक्रमशिला विश्‍वविद्यालय की स्‍थापना इसी अवधि में की गई।
  159. पाल वंश के पतन के बाद सेन राजवंश ने बंगाल में शासन स्‍थापित किया। इस राजवंश के स्‍थापक सामंत सेन थे। इस राजवंश के महानतम शासक विजय सेन थे।
  160. प्रतिहार राजवंश के महानतम शासक मि‍हिर भोज थे। उन्‍होंने 836 में कन्‍नौज (कान्‍यकुब्‍ज) की खोज की और लगभग एक शताब्‍दी तक प्रतिहारों की राजधानी बनाया। उन्‍होंने भोजपाल (वर्तमान भोपाल) शहर का निर्माण किया। 
  161. राष्ट्रकूट राजवंश ने कर्नाटक पर राज्‍य किया और यह कई कारणों से उल्‍लेखनीय है। उन्‍होंने किसी अन्‍य राजवंश की तुलना में एक बड़े हिस्‍से पर राज किया। वे कला और साहित्‍व के महान संरक्षक थे। 
  162. दक्षिण का चोल राजवंश यह भारतीय महाद्वीप के एक बड़े हिस्‍से को शामिल करते हुए नौवीं शताब्‍दी ए.डी. के मध्‍य में उभरा साथ ही यह श्रीलंका तथा मालदीव में भी फैला था।
  163. इस राजवंश से उभरने वाला प्रथम महत्‍वपूर्ण शासक राजराजा चोल 1 और उनके पुत्र तथा उत्तरवर्ती राजेन्‍द्र चोल थे। राजराजा ने अपने पिता की जोड़ने की नीति को आगे बढ़ाया। उसने बंगाल, ओडिशा और मध्‍य प्रदेश के दूरदराज के इलाकों पर सशस्‍त्र चढ़ाई की।
  164. उमायद खलीफा ने डमस्‍कस में बलूचिस्‍तान और सिंध पर 711 में मुहम्‍मद बिन कासिन के नेतृत्‍व में चढ़ाई की। उन्‍होंने सिंध और मुलतान पर कब्‍जा कर लिया।
  165.  वर्ष 1024 में सुल्‍तान गजनवी  ने अरब सागर के साथ काठियावाड़ के दक्षिणी तट पर अपना अंतिम प्रसिद्ध खोज का दौर शुरु किया, जहां उसने सोमनाथ शहर पर हमला किया और साथ ही अनेक प्रतिष्ठित हिंदू मंदिरों पर आक्रमण किया।
  166. तुगलक राजवंश के अंतिम राजा के कार्याकाल के दौरान शक्तिशाली राजा तैमूर या टेमरलेन ने 1398 ए.डी. में भारत पर आक्रमण किया। उसने सिंधु नदी को पार किया और मुल्‍तान पर कब्‍ज़ा किया तथा बहुत अधिक प्रतिरोध का सामना न करते हुए दिल्‍ली तक चला आया।
  167. विजय नगर साम्राज्य  दो हिन्‍दु राजकुमार हरिहर और बूक्‍का ने कृष्‍णा और तुंगभद्रा नदियों के बीच 1336 में एक स्‍वतंत्र राज्‍य की स्‍थापना की। 
  168.  सिक्‍ख धर्म की स्‍थापना सोलहवीं शताब्‍दी के आरंभ में गुरूनानक देव द्वारा की गई थी। गुरू नानक का जन्‍म 15 अप्रैल 1469 को पश्चिमी पंजाब के एक गांव तलवंडी में हुआ था। 
  169.  वर्ष 1757 ने प्‍लासी के युद्ध के बाद ब्रिटिश जनों ने भारत पर राजनैतिक अधिकार प्राप्‍त कर लिया। और उनका प्रभुत्‍व लॉर्ड डलहौजी के कार्य काल में यहां स्‍थापित हो गया जो 1848 में गवर्नर जनरल बने।
  170. 1857 के विद्रोह की असफलता के परिणामस्‍वरूप, भारत में ईस्‍ट इन्डिया कंपनी के शासन का अंत भी दिखाई देने लगा तथा भारत के प्रति ब्रिटिश शासन की नीतियों में महत्‍वपूर्ण परिवर्तन हुए, जिसके अंतर्गत भारतीय राजाओं, सरदारों और जमींदारों को अपनी ओर मिलाकर ब्रिटिश शासन को सुदृढ़ करने के प्रयास किए गए। 
  171. रानी विक्‍टोरिया के दिनांक 1 नवम्‍बर 1858 की घोषणा के अनुसार यह उद्घोषित किया गया कि इसके बाद भारत का शासन ब्रिटिश राजा के द्वारा व उनके वास्‍ते सेक्रेटरी आफ स्‍टेट द्वारा चलाया जाएगा। गवर्नर जनरल को वायसराय की पदवी दी गई, 
  172. असहयोग आंदोलन
    सितम्‍बर 1920 से फरवरी 1922 के बीच महात्‍मा गांधी तथा भारतीय राष्‍ट्रीय कॉन्‍ग्रेस के नेतृत्‍व में असहयोग आंदोलन चलाया गया, जिसने भारतीय स्‍वतंत्रता आंदोलन को एक नई जागृति प्रदान की। जलियांवाला बाग नर संहार सहित अनेक घटनाओं के बाद गांधी जी ने अनुभव किया कि ब्रिटिश हाथों में एक उचित न्‍याय मिलने की कोई संभावना नहीं है इसलिए उन्‍होंने ब्रिटिश सरकार से राष्‍ट्र के सहयोग को वापस लेने की योजना बनाई और इस प्रकार असहयोग आंदोलन की शुरूआत की गई 
  173. भारत छोड़ो आंदोलन
    अगस्‍त 1942 में गांधी जी ने ''भारत छोड़ो आंदोलन'' की शुरूआत की तथा भारत छोड़ कर जाने के लिए अंग्रेजों को मजबूर करने के लिए एक सामूहिक नागरिक अवज्ञा आंदोलन ''करो या मरो'' आरंभ करने का निर्णय लिया। इस आंदोलन के बाद रेलवे स्‍टेशनों, दूरभाष कार्यालयों, सरकारी भवनों और अन्‍य स्‍थानों तथा उप निवेश राज के संस्‍थानों पर बड़े स्‍तर पर हिंसा शुरू हो गई।
  174.  संघटक सभा का गठन भारतीय संविधान को रूपरेखा देना के लिए जुलाई 1946 में किया गया था और डॉ. राजेन्‍द्र प्रसाद को इसका राष्‍ट्रपति निर्वाचित किया गया था। भारतीय संविधान, जिसे 26 नवम्‍बर 1949 को संघटक सभा द्वारा अपनाया गया था। 26 जनवरी 1950 को यह संविधान प्रभावी हुआ और डॉ. राजेन्‍द्र प्रसाद को भारत का प्रथम राष्‍ट्रपति चुना गया।
  175. आगरे का किला
    ताजमहल के उद्यानों के पास महत्‍वपूर्ण 16 वीं शताब्‍दी का मुगल स्‍मारक है, जिसे आगरे का लाल किला कहते हैं।इसमें अनेक विशिष्‍ट भवन हैं जैसे मोती मस्जिद - सफेद संगमरमर से बनी एक मस्जिद, दीवान ए आम, दीवान ए खास, मुसम्‍मन बुर्ज - जहां मुगल शासक शाह जहां की मौत 1666 ए. डी. में हुई, जहांगीर का महल और खास महल तथा शीश महल। आगरे का किला मुगल वास्‍तुकला का उत्‍कृष्‍ट उदाहरण है, यह भारत में यूनेस्‍को के विश्‍व विरासत स्‍थलों में से एक है।

  176. अजंता और ऐल्‍लोरा गुफाएं
     बौद्ध तथा जैन सम्‍प्रदाय द्वारा बनाई गई ये गुफाएं सजावटी रूप से तराशी गई हैं। महाराष्‍ट्र में औरंगाबाद शहर से लगभग 107 किलो मीटर की दूरी पर अजंता की ये गुफाएं पहाड़ को काट कर विशाल घोड़े की नाल के आकार में बनाई गई हैं।  इन गुफाओं में चैत्‍य कक्ष या मठ है, जो भगवान बुद्ध और विहार को समर्पित हैं, जिनका उपयोग बौद्ध भिक्षुओं द्वारा ध्‍यान लगाने और भगवान बुद्ध की शिक्षाओं का अध्‍ययन करने के लिए किया जाता था। गुफाओं की दीवारों तथा छतों पर बनाई गई ये तस्‍वीरें भगवान बुद्ध के जीवन की विभिन्‍न घटनाओं और विभिन्‍न बौद्ध देवत्‍व की घटनाओं का चित्रण करती हैं। इसमें से सर्वाधिक महत्‍वपूर्ण चित्रों में जातक कथाएं हैं, 
  177. आमेर का किला
    जयपुर, राजस्‍थान की राजधानी से लगभग 11 किलो मीटर की दूरी पर आमेर किले का संकुल स्थित है। आमेर का किला दिल्‍ली - जयपुर राजमार्ग की जंगली पहाडियों के बीच अपनी विशाल प्राचीरों सहित नीचे माओटा झील के पानी में छवि दिखाता खड़ा हुआ है।
  178. बहाई मंदिर
    भारत की जगमगाती राजधानी, नई दिल्‍ली के मध्‍य में कमल के आकार की एक इमारत शहर के निवासियों की चेतना पर उकेरी गई है, 
  179. बाड़ा इमामबाड़ा, लखनऊ
     इमामबाड़े का निर्माण नवाब आसफ - उद - दौला ने 1784 में कराया था और इसके संकल्‍पना कार थे किफायत - उल्‍ला, जो ताजमहल के वास्‍तुकार के संबंधी कह जाते हैं। 
  180. बृहदेश्‍वर मंदिर - तंजौर
    ब़ृहदेश्‍वर मंदिर चोल वास्‍तुकला का शानदार उदाहरण है, जिनका निर्माण महाराजा राजा राज (985-1012.ए.डी.) द्वारा कराया गया था। 
  181. दिलवाड़ा मंदिर, माउंटआबू
    संगमरमर में आश्‍चर्य जनक रूप से शिल्‍पकारी द्वारा माउंटआबू (राजस्‍थान) के दिलवाड़ा जैन मंदिर बनाए गए हैं जो विभिन्‍न जैन तीर्थंकरों के मठ हैं। अरासूरी पहाड़ी, अम्‍बाजी के पास, आबू रोड से 23 किलो मीटर की दूरी पर सफेद संगमरमर से निर्मित ये मंदिर जैन मंदिर वास्‍तुकला का असाधारण उदाहरण हैं।
  182. सांची में बौद्ध स्‍तूप
    सांची, जिसे काकानाया, काकानावा, काकानाडाबोटा तथा बोटा श्री पर्वत के नाम से प्राचीन समय में जाना जाता था और अब यह मध्‍य प्रदेश राज्‍य में स्थित है। तीसरी शताब्‍दी बी. सी. से 12वीं शताब्‍दी ए.डी . के बीच लिखे गए शिला लेखों की संपदा के लिए विश्‍व भर में प्रसिद्ध है।
  183. स्‍वर्ण मंदिर
    श्री हरमंदिर साहिब को श्री दरबार साहिब या स्‍वर्ण मंदिर भी कहा जाता है (इसके आस पास के सुंदर परिवेश और स्‍वर्ण की पर्त के कारण) और यह अमृतसर (पंजाब) में स्थित सिक्‍खों का सबसे पवित्र मंदिर माना जाता है। 
  184. हवा महल
    जयपुर की पहचान माना जाने वाला हवा महल कई स्‍तरों पर बना हुआ महल है, जिसका निर्माण सवाई प्रताप सिंह (सवाई जय सिंह के पौत्र और सवाई माधो सिंह के पुत्र) ने 1799 ए. डी. में कराया था और श्री लाल चंद उस्‍ता इसके वास्‍तुकार थे। 
  185. चारमीनार
    हैदराबाद शहर प्राचीन और आधुनिक समय का अनोखा मिश्रण है जो देखने वालों को 400 वर्ष पुराने भवनों की भव्‍यता के साथ आपस में सटी आधुनिक इमारतों का दर्शन कराता है।
    यह कुतुब शाही वास्‍तुकला के कुछ उत्‍कृष्‍ट उदाहरणों को प्रदर्शित करता है 
  186.  भारत में 716 जिले हैं जिनका प्रशासन संबंधित राज्‍य/संघ राज्‍य क्षेत्र सरकारों द्वारा किया जाता है।
  187. संस्‍कृत की सर्वाधिक प्रसिद्ध हिन्‍दू कृतियां वेद, उपनिषद और मनुस्‍मृति हैं।अन्‍य महान साहित्यिक रचनाएं जिनसे भारतीय साहित्‍य के स्‍वर्ण युग का निर्माण हुआ, कालीदास की 'अभिज्ञान शकुन्‍तलम' और 'मेघदूत', शुद्रक की 'मृच्‍छकटिकम' भास की 'स्‍वप्‍न वासवदत्ता' और श्री हर्ष की द्वारा रचित 'रत्‍नावली' है। अन्‍य प्रसिद्ध कृतियां चाणक्‍य द्वारा रचित अर्थशास्‍त्र और वात्‍स्‍यायन का 'कामसूत्र' है।
  188. हिन्‍दी साहित्‍य का प्रारम्‍भ मध्‍यकाल में अवधी और ब्रज भाषाओं में धार्मिक और दार्शनिक काव्‍य रचनाओं से हुआ। इस काल के प्रसिद्ध कवियों में कबीर और तुलसीदास विख्‍यात हैं। देवकीनन्‍दन खत्री द्वारा लिखित चन्‍द्रकान्‍ता को हिन्‍दी गद्य की प्रथम कृति माना गया है। मुंशी प्रेमचन्‍द हिन्‍दी के प्रसिद्ध उपन्‍यासकार थे। मैथिलीशरण गप्‍त, जयशंकर प्रसाद, सुमित्रानन्‍दन पंत, महादेवी वर्मा और रामधारी सिंह दिनकर इस काल के अन्‍य प्रसिद्ध कवि थे।
  189. अंग्रेजी साहित्‍य में  मुल्‍क राज आनन्‍द जिनकी प्रसिद्ध कृतियां थी 'अनटचेबल' (1935) और 'कुली' (1936), आर. के. नारायण जिन्‍होंने उपन्‍यास लिखे और दक्षिण भारत के गांव की कहानी लिखी जैसे कि 'स्‍वामी एण्‍ड फ्रेंड्स।  
  190. अनीता देसाई ने 'क्‍लीयर लाइट ऑफ दि डे' (1980) और 'इन कस्‍टडी' प्रसिद्ध उपन्‍यासों की रचना की।
  191. विक्रम सेठ ('ए सूटेबल बॉय'), एलन सियली ('दि ट्रॉटर-नामा'), शशी थरूर ('शो बिजनस'), आमित्‍व घोष ('सर्थिस ऑफ रीज़न', 'शेडो लाइन्‍स'), उपमन्‍यु चटर्जी ('इंगलिश अगस्‍त') और विक्रम चन्‍द्र ('रेड अर्थ और पोरिंग रेन')लेखकों  का नाम आता है।
  192. भारत में शास्‍त्रीय संगीत की दो प्रमुख विधाएं - हिंदुस्‍तानी और कर्नाटक - गुरू-शिष्‍य परंपरा का निर्वाह करती चली आ रही हैं।
  193. नृत्य की  दो प्रमुख शैलियां हैं - शास्‍त्रीय नृत्‍य और लोकनृत्‍य। शा इनमें प्रमुख हैं - 'भरतनाट्यम', 'कथकली', 'कत्‍थक', 'मणिपुरी', 'कुचिपुड़ी' और 'ओडिसी'।
  194.  'भरतनाट्यम' मुख्‍यत: तमिलनाडु का नृत्‍य है  'कथकली' केरल की नृत्‍यशैली है।
  195.  'कत्‍थक' भारतीय संस्‍कृति पर मुगल प्रभाव से विकसित नृत्‍य का एक अहम शास्‍त्रीय रूप है।
  196.  'मणिपुरी' नृत्‍यशैली में कोमलता और गीतात्‍मकता है जबकि 'कुचिपुड़ी' की जड़ें आंध्र प्रदेश में हैं।
  197.  ओडिशा का 'ओडिसी' प्राचीनकाल में मंदिरों में नृत्‍य रूप में प्रचलित था जो अब समूचे भारत में प्रचलित है। 
  198. भारतीय कला के प्रति देश-विदेश में समझ बढ़ाने और प्रचार-प्रसार के लिए सरकार ने नई दिल्‍ली में 1954 में ललित कला अकादमी (नेशनल अकादमी ऑफ आर्ट्स) की स्‍थापना की थी। अकादमी के लखनऊ, कोलकाता, चेन्‍नई, नई दिल्‍ली और भुवनेश्‍वर में क्षेत्रीय केंद्र हैं जिन्‍हें राष्‍ट्रीय कला केंद्र के नाम से जाना जाता है।
  199. संगीत नाटक अकादेमी का गठन भारत सरकार के तत्कालीन शिक्षा मंत्रालय के 31 मई 1952 के प्रस्ताव के जरिये किया गया था और भारत के गज़ट में इसे जून 1952 में अधिसूचित किया गया था। इसके पहले अध्यक्ष डॉ. पी. वी. राजमन्नार थे। 

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